कैसे करें व्यक्तित्व का विकास | How to develop personality?

कैसे करें व्यक्तित्व का विकास | How to develop personality?
Personality development

कैसे करें व्यक्तित्व का विकास | How to develop personality?

हम और आप लगभग रोजाना नए – नए लोगों से मिलते हैं। कुछ लोग ऐसे भी होते हैं जो कि एक बार में ही अपनी छाप छोड़ जाते हैं। ये आपको प्रभावित करते हैं। ये सब उनके व्यक्तित्व विकास (personality development) के कारण होता है। क्या आप भी उनसे प्रभावित होकर उनके जैसी personality बनाना चाहते हैं। तो आप हमारे इस लेख (कैसे करें व्यक्तित्व का विकास | How to develop personality?) को अंत तक पढ़ें।

क्या होता है व्यक्तित्व विकास और इसे कैसे विकसित किया जाता है, हम आगे पढ़ेंगे। व्यक्तित्व की परिभाषा और इसके महत्व के बारे में भी जानेंगे। ऐसे कौन से तथ्य हैं जिनसे आपकी Personality development होती है। इस लेख में हम आपको व्यक्तित्व विकास (पर्सनैलिटी डेवलपमेंट) के बारे में विस्तृत जानकारी देने वाले हैं।

क्या होता है व्यक्तित्व का विकास | What is personality development?

Personality development

भिन्न – भिन्न व्यक्तियों में विभिन्न विशेषताएं होती हैं जिनके कारण उन्हें आसानी से पहचाना जा सकता है। प्रकृति का यह नियम है जिसके कारण वह  एक छोटा सा बालक अपने माता – पिता से जन्म लेने के बाद बहुत सी प्रतिभाओं को ग्रहण करता है। उसके बाद वह जिस परिवेश में रहता है वहां से अनेकों गुणों और अवगुणों को एडॉप्ट करता है। व्यक्ति के आचरण और व्यवहार से ही समाज में उसकी एक छवि तैयार होती है जिसे व्यक्तित्व कहते हैं।

“आप खराब व्यवहार के साथ जीवन बिता सकते हैं, लेकिन अच्छे आचरण के साथ जीवन आसान हो जाता है।”

– लिलियन गिश

वह जैसे वातावरण में रहता है वैसे ही उसके सोच और विचार विकसित होने लगते हैं। इन्हीं सोच – विचार के अनुरूप वह अपने सभी व्यक्तिगत, व्यावहारिक और व्यावसायिक कार्यों को अंजाम देता है। Personality development में वंशानुक्रम और परिवेश दो मुख्य तत्व भूमिका निभाते हैं। वंशानुक्रम व्यक्ति को जन्मजात शक्तियां प्रदान करता है तथा उसका परिवेश उन शक्तियों को दर्शाने के लिए संसाधन प्रदान करता है।

जैसे – जैसे बालक जिस परिवेश में बड़ा होता है वह उस परिवेश से प्रभावित होता है। जिस समाज या समुदाय में वह विकसित होता है, वहां की शैली को वह धीरे – धीरे आत्मसात कर लेता है। साथ ही साथ उसके व्यवहार और आचरण भी वहीं पर पोषित होते हैं। इस प्रकार एक व्यक्ति का व्यक्तित्व विकास (personality development) संभव होता है।

व्यक्तित्व की परिभाषा | Definition of personality.Personality development

एक व्यक्ति के जीवन, करियर, विकास और उपलब्धियों में व्यक्तित्व (personality) की मुख्य भूमिका होती है। व्यक्ति के जीवन का यह विशेष तत्व उसकी हार और जीत तथा सफलता व असफलता का निर्णय करता है।

Personality से बहुत सी चीजें जुड़ी हुई हैं, जैसे – कद और काठी, पहनना और ओढ़ना तथा आचरण व व्यवहार आदि। बहुत से लोग इसे नैतिक मूल्यों से भी जोड़ते हैं जबकि सच्चाई तो यह है कि इसमें ये सब चीजें शामिल होने के उपरांत भी बहुत सी और चीजें भी हैं।

जब कोई व्यक्ति अपने किसी पहलू से, दूसरों को आकर्षित करता है या सराहना पाता है तो उसे उसका व्यक्तित्व कहा जा सकता है। इसको एक अलग ढंग से कह सकते हैं, व्यक्तित्व एक सुंदरता जैसी चीज है जिसकी आसानी से सराहना तो की जा सकती है लेकिन इसको परिभाषित करना मुश्किल है। 

बहुत से शब्दकोशों में व्यक्तित्व की परिभाषा कुछ इस प्रकार दी गई है:-

  1. किसी व्यक्ति की मानसिक व भावनात्मक विशेषता।
  2. कुछ विशेषताएं (अच्छे या बुरे गुण) जो व्यक्ति को दूसरों से अलग करती हैं।
  3. कुछ खास गुण जो व्यक्ति की अपनी व्यक्तिगत पहचान बनाते हैं।

उपर्युक्त सभी बिंदुओं को ध्यान में रखते हुए एक बात स्पष्ट होती है कि किसी व्यक्ति के व्यक्तिगत गुणों से ही उसके व्यक्तित्व का निर्माण होता है। व्यक्तित्व (personality) अंग्रेजी भाषा के दो शब्दों personal और quality का संयोग है। इसकी झलक आपके व्यवहार में देखने को मिलती है।

यह आपके गुणों को प्रदर्शित करता है। यह इन शब्दों का सकारात्मक मेल है। यदि इनमें से एक गुण अच्छा है और दूसरा खराब तो कुल मिलाकर प्रभाव अच्छा नहीं पड़ेगा।

उदाहरण के लिए –
  • कोई व्यक्ति लंबा है, लेकिन यदि वह झुककर चलता है तो प्रभावशाली नहीं लगेगा।
  • कोई अच्छा और प्रभावशाली व्यक्ति, यदि अभद्र भाषा का इस्तेमाल करता है तो वह अपना आकर्षण खो देता है।
  • यदि कोई व्यक्ति गरीब है, लेकिन वह विनम्र और अच्छे व्यवहार वाला है तो वह अच्छा प्रभाव छोड़ता है।

व्यक्तित्व विकास का महत्त्व | Importance of personality development

Personality development

एक अच्छी पर्सनैलिटी का आपके जीवन में बहुत बड़ा महत्त्व होता है। कोई भी व्यक्ति अपने व्यक्तित्व का विकास पूरी जिंदगी करता रहता है। यदि आपने अपना personality development अच्छे से किया है तो इसके बहुत बड़े फायदे हैं।

आप जब भी किसी भीड़ – भाड़ वाले स्थान पर जाते हैं जैसे – किसी सिनेमा हॉल में या किसी सेमिनार में आदि। यदि आपके पर्सनैलिटी डेवलपमेंट में कमी है तो आपको ऐसी जगहों पर जाने में कठिनाई का सामना करना पड़ता है। आप अपने फ्लैश बैक में जाएं और गौर करें कि जब आप किसी सिनेमा हॉल में घुसने वाले थे और मूवी चल रही थी। आपके दिमाग में कुछ ऐसे विचार आ रहे होंगे कि क्या मैं अंदर जाऊं या नहीं, लोगों को परेशानी होगी या लोग हल्ला करेंगे वगैरा – वगैरा।

यदि आप किसी सेमिनार में गए हों, थोड़ा देर से पहुंचे हों और वहां लेक्चर चल रहा हो। ऐसे में आप क्या सोचते हैं कि मैं अंदर कैसे जाऊं, सब लोग मेरी तरफ देखेंगे और न जाने मेरे बारे में क्या – क्या टिप्पणी करेंगे ? ये सब लैक ऑफ पर्सनैलिटी डेवलपमेंट को इंगित करते हैं। ऐसे समय पर आपकी अच्छी पर्सनैलिटी आपका हर काम आसान बना देती है।

व्यक्तित्व का विकास (personality development) महत्त्वपूर्ण होने के साथ – साथ जरूरी भी है। यह आपके प्रदर्शन (presentation) को बेहतर बनाता है और उत्पादकता भी बढ़ाता है। इस संबंध में कुछ तथ्य इस प्रकार हैं :-

  1. एक अच्छी पर्सनैलिटी आपको अपने सहयोगियों में प्रतिष्ठा दिलाती है।
  2. इससे आपको आत्मसंतुष्टि मिलती है।
  3. यह आपके सामाजिक और सांगठनिक कार्यों में बढ़ावा देता है।
  4. यह आपके आत्मविश्वास को बढ़ाता है जिससे आपके अंदर लीडरशिप में मदद मिलती है।
  5. परेशानियों और stress का सामना करने में व्यक्तित्व विकास महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
  6. Personality development आपके positive mental attitude (सकारात्मक मानसिक नजरिया) को डेवलप करने में मदद करता है।

व्यक्तित्व विकास के तथ्य | Facts of personality development

Personality development

बहुत से लोगों का मानना है कि personality जन्मजात गुण होता है, लेकिन ऐसा नहीं है। अन्य चीजों की तरह यह भी विकसित होता है। ऐसे बहुत से तथ्य हैं जिनको ध्यान में रखकर उनमें सुधार की जरूरत है। यदि आप इनमें सुधार करने की कोशिश करते हैं तो कुछ समय के बाद ये तथ्य सकारात्मक तथा उपयोगी गुणों के रूप में सामने आयेंगे। इन तथ्यों को अलग प्रकार से वर्गीकृत कर सकते हैं जैसे बाहरी और आंतरिक तथ्य :-

बाहरी तथ्य | external facts :-

आगे हम व्यक्तित्व विकास को वर्णित करने के लिए बाहरी तथ्यों के बारे में पढेंगे:-

कद – काठी | height

कद – काठी के बारे में कुछ नहीं किया जा सकता, यह तो जन्मजात होती है। हालांकि कुछ और तथ्य हैं जिनकी सहायता से कद – काठी को और प्रभावशाली और बेहतर बनाया जा सकता है। शारीरिक व्यायाम, योग और ध्यान आदि से इसका वजन नियंत्रण, मोटापे पर रोकथाम और शरीर को सुडौल बनाया जा सकता है।

पोशाक | costumes

एक गरीब और सामान्य व्यक्ति, दूसरे किसी अमीर और अभद्र व्यक्ति से प्रभावशाली हो सकता है यदि वह साफ सुथरे कपड़े पहनता है। पोशाक का सही चयन आपकी personality निखारने में मदद करती है।

वार्तालाप | conversation

वार्तालाप हरेक व्यक्ति की जिंदगी का अहम हिस्सा है। व्यक्ति एक साल की उम्र से ही बातचीत करना शुरू कर देता है, लेकिन अधिकांश लोग अपने वार्तालाप के दौरान सही शब्दों का उपयोग नहीं करते हैं। एक सुव्यवस्थित शैली आपकी पर्सनेलिटी में चार चांद लगा देती है।

सही बातचीत आपकी सफलता में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती है। घर और ऑफिस में मतभेदों का उभरना, गलत संवाद का नतीजा हो सकता है। इसलिए शब्दों को नापतोल कर ही बोलना चाहिए और जितनी आवश्यकता है उतनी ही बातें करें। कामयाब लोग व्यर्थ की बातों में अपना कीमती समय बर्बाद नहीं करते हैं।

किसी व्यक्ति के सामने अपने विचार और राय को किस तरह व्यक्त करें कि अधिक प्रभावशाली हों, यह पूर्णरूप से व्यक्ति की क्षमता और योग्यता पर निर्भर करता है। प्रभावशाली संवाद व्यक्ति की कामयाबी में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाता है। बड़ी ऊंचाई को छूने और सफलता की राह पर चलने के लिए आपको प्रभावशाली संवाद को सीखना चाहिए। यह मात्र एक कला है जिससे आपकी personality development में और निखार आ सकता है।

चाल – ढाल | Gait

चाल – ढाल व्यक्ति के चलने – फिरने की स्टाइल से संबंधित है। कोई व्यक्ति किस तरह से चलता है और कैसे खड़ा होता है – सीधा या टेढ़ा – मेढा। नपे तुले कदमों से चलने वाला व्यक्ति ज्यादा प्रभावशाली होता है। यह आदत छोटी कोशिशें करने से ही विकसित की जा सकती है। जैसे कोई रैंप वॉक पर अपने कदमों पर ध्यान देता है। यानी सतर्क कदमों से चलना अधिक प्रभावशाली हो सकता है।

आंतरिक तथ्य | internal facts:-

किसी भी कार्य को सुचारू रूप से पूर्ण करने के लिए बाह्य और आंतरिक तथ्यों की आवश्यकता होती है। यहां हम आपको आंतरिक तथ्यों के बारे में जानकारी देंगे। ये भी बाह्य तथ्यों जितने ही महत्त्वपूर्ण होते हैं :-

साहस | daring

साहस व्यक्ति का ऐसा गुण है जो उसकी उपलब्धियों को हासिल करने में मदद करता है। यह व्यक्ति का जरूरी और पहला गुण है। इसके बिना कोई भी व्यक्ति कुछ भी हासिल नहीं कर सकता।

विनम्रता | humility

Personality development के लिए व्यक्ति का विनम्र होना बहुत जरूरी है। उसको अपनी उपलब्धियों के बारे में बेवजह बातें नहीं करनी चाहिए और न बड़बोला होना चाहिए। बेहतर होगा यदि दूसरे लोग आपकी उपलब्धियों के बारे में बातचीत करें। अपने मुंह मियां मिट्ठू बनना ठीक नहीं होगा।

उदारता | kindness

सामाजिक प्राणी होने के नाते व्यक्ति का एक – दूसरे के साथ परस्पर संबंध होता है। जिंदगी की सभी जरूरतों को पूरा करने के लिए व्यक्ति को एक – दूसरे की मदद और उदारता की आवश्यकता होती है। हर एक व्यक्ति अपने जीवन में मुश्किल दौर से गुजरता है और ऐसे समय में वह दूसरों से मदद और समर्थन की उम्मीद करता है। दूसरों की मदद करना और उदारता दिखाना एक अच्छा गुण होता है।

नेतृत्व | leadership

Leadership एक ऐसा गुण है जो आपकी हर परिस्थिति और रोजमर्रा से संबंधित प्रत्येक कार्य में मददगार होता है। पर्सनैलिटी डेवलपमेंट में नेतृत्व का गुण बहुत ही महत्त्वपूर्ण होता है। जीवन में सफलता और दूसरों से सम्मान पाने के लिए आपको अपने अंदर यह गुण अधिक से अधिक विकसित करना चाहिए।

सच्चाई | truth

चाहे कितनी भी मुश्किलें आएं, व्यक्ति को सच्चाई का साथ नहीं छोड़ना चाहिए क्योंकि अंत में जीत सच्चाई की ही होती है। सच्चाई आपके व्यक्तित्व विकास में नया आयाम जोड़ती है। लोग सच्चे व्यक्ति पर विश्वास करते हैं और उसका सम्मान करते हैं।

सकारात्मक सोच | positive thinking

सकारात्मक सोच व्यक्ति को हर दिशा में सही राह दिखाती है। यह एक ऐसी चाबी है जिससे किसी भी बंद दरवाजे के ताले को खोला जा सकता है। positive thinking से आप अपनी किसी भी योजना में सफलता हासिल कर सकते हैं।

सहिष्णुता | toleration

व्यक्तित्व विकास के लिए व्यक्ति में सहिष्णुता का गुण होना बहुत आवश्यक है। दूसरों की गलतियों और बेवकूफियों को लेकर सहनशील होना बहुत जरूरी है। यदि आपकी आलोचना भी हो रही हो तो भी वहां आपको परिपक्वता (maturity) दिखानी चाहिए।

इसके अलावा भी बहुत सारे ऐसे गुण हैं जिनसे आपका व्यक्तित्व विकास और निखर सकता है। इनके बारे में हम आगे पढ़ेंगे।

कैसे करें व्यक्तित्व का विकास | How to develop personality?

अपनी पर्सनैलिटी को चमकाने या आकर्षित बनाने के लिए हमें क्या करना चाहिए? व्यक्तित्व के विकास के लिए बेहद खास पॉइंट्स के बारे में हम पढ़ेंगे :-

व्यक्तित्व विकास के 10 टिप्स | 10 tips to personality development

Personality development

1. अच्छे श्रोता बनें | be a good listener

एक अच्छा श्रोता बनना आपके व्यक्तित्व विकास में सहायक साबित हो सकता है। सामने वाले की बातों को ध्यान से सुनें। आजकल हर इंसान ये चाहता है कि कोई उसकी बातों को ध्यान से सुने।

ऐसे में यदि आप सामने वाले को ध्यान से सुनते हैं और अपनी बॉडी लैंग्वेज का भी ध्यान रखते हैं। तो सामने वाले व्यक्ति को ऐसा लगेगा कि आप उसकी बातों को ध्यान लगाकर सुन रहे हैं। इस प्रकार आपके आपसी संबंध अच्छे बनेंगे। लोग आपकी इज्जत करेंगे। अपने व्यक्तित्व विकास के लिए खुद में ये बदलाव बेहद जरूरी है।

2. अपने आस पास के लोगों को दिल से पसंद करें | love the people around you wholeheartedly

अपने आस – पास या कॉलोनी में रहने वाले लोगों को दिल से पसंद कीजिए। यदि आपको ऐसा लगता है कि ये तो बहुत मतलबी है, लड़ाकू है या फिर बहुत गरीब है। तो दोस्तो एक बात को अपने मन में बिठा लीजिए कि इस दुनिया में कोई भी व्यक्ति परफेक्ट नहीं है। हर इंसान के अंदर कुछ न कुछ कमियां जरूर मिलेंगी।

हमें अपने व्यक्तित्व को विकसित करना है तो अपना सोचने का नजरिया बदलना होगा। अपने अवचेतन मन को लोगों की अच्छाइयां ढूंढने में लगाएं बजाय बुराइयों के। आपका मन जैसे ही लोगों की अच्छाइयां ढूंढने लगेगा आप उन लोगों को पसंद करने लगेंगे। लोगों की कमियों और परिस्थितियों से इरिटेट मत होइए।

खुद को उन circumstances में रखकर सोचिए। यदि आप उनकी जगह होते तो आप क्या करते। अधिकतर लोग अच्छे होते हैं, कम से कम उन लोगों के साथ जो उनके साथ अच्छे हैं। लोगों में खूबियां ढूंढे और उन्हें like करें। जब आप लोगों के साथ ऐसा व्यवहार करेंगे तो बदले में लोग भी आपको पसंद करेंगे।

“मैं जिस किसी भी व्यक्ति से मिलता हूं वह किसी न किसी रूप में मुझसे बेहतर होता है।”

– राल्फ वाल्डो इमर्सन

3. दूसरे लोगों से सीखिए | learn from other people

जब एक बच्चा पैदा होता है तो वह अपने मां – बाप से सीखता है। जैसे उनका बात करना, चलना, हंसना जैसी अन्य चीजों को वह बच्चा कॉपी करता है। ताउम्र हम अपने आस – पड़ोस और समाज को देखकर नई – नई चीजें सीखते हैं। जब हम कोई काम करते हैं तो हमसे कुछ गलतियां भी होती हैं।

पहले जो गलती हो चुकी है और उसमें सुधार हो चुका है तो फिर बार – बार हमें उसी गलती को नहीं दोहराना चाहिए। आज कल फिर भी बहुत से लोग उन्हीं गलतियों को दोहराते हैं। दूसरों की गलतियों से सीखकर हमें आगे बढ़ना चाहिए।

“दूसरों को देखकर सीखें, खुद गलती करके सीखने में आपकी उम्र छोटी पड़ जायेगी।”

4. पढ़ने की आदत बनाएं | make reading habit

किताब पढ़ने की आदत अमीर और सफल लोगों की प्रमुख आदतों में से एक है। बुक्स पढ़ने से ज्ञान बढ़ता है और ज्ञान बढ़ने से सम्मान। पढ़ने से आत्म विश्वास (self confidence) बढ़ता है। जब हम कुछ सीखेंगे तभी तो लोगों को बता सकते हैं।

पढ़ने की आदत आपको बहुत ज्यादा मोबाइल फोन और टीवी के उपयोग से भी बचाती है। इसलिए पढ़ने की आदत को अपनी आदतों में शामिल करें। रीडिंग हैबिट आपके व्यक्तित्व विकास (personality development) में मददगार होती है।

5. बोलने की शैली | speaking style

आप किसी महत्त्वपूर्ण वक्ता को ध्यान से सुनिए। आपको पता चल जाएगा कि वह किस ओर इशारा कर रहा है। बोलने की शैली आपके व्यक्तित्व को दर्शाती है। आप जो बोलते हैं, वह महत्त्वपूर्ण होता है। ऐसे स्पीकर का उच्चारण एकदम स्पष्ट होता है इसलिए उसे सुनने में भी अच्छा लगता है।

अच्छे ढंग से बोलने से आपके व्यक्तित्व पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। अपने व्यक्तित्व विकास (Personality development) को बेहतर करने के लिए बोलने की शैली को सुधारना जरूरी है।

6. शारीरिक भाषा | body language

Body language आपके विचारों को दर्शाती है। इसमें आप अपने हाव भाव से ही बहुत कुछ बोल देते हैं। आप प्रतीकों और संकेतों के द्वारा भी संदेश दे सकते हैं। यह सकारात्मक और नकारात्मक दोनों हो सकते हैं। गलत इशारे, उठने बैठने का गलत ढंग और चेहरे पर गलत भाव आपको अकल्पनीय नुकसान पहुंचा सकते हैं। अपने अंदर झांकें, अपनी कमियों का अवलोकन करें और उनका सुधार करें।

7. व्यवहार और संतुलन | behaviour and balance

आचरण से तात्पर्य व्यक्ति के व्यवहार से होता है। संतुलन से उसकी क्षमता प्रदर्शित होती है। हर किसी को शिष्ट व्यवहार की अपेक्षा होती है। हालात कैसे भी हों आपको सबके साथ अच्छा व्यवहार करना है। इससे आपकी परवरिश की भी परख होती है। अच्छे आचरण से व्यक्तित्व को अच्छे ढंग से प्रस्तुत करना संभव होता है। ये दोनों ही बिंदु हमारी जीवन शैली के मुख्य तथ्य हैं।

  • सार्वजनिक स्थलों पर आप जिस तरह पेश आते हैं वह आपके आचरण और व्यवहार को दर्शाता है।
  • सीधा, तनकर और गरिमापूर्ण ढंग से खड़ा होना आपके चरित्र को दर्शाता है। सहज खड़े होने के लिए अपने दोनों पैरों के बीच में थोड़ी दूरी रखें।
  • कभी भी कूल्हे पर हाथ रखकर न खड़े हों, यह आपके आक्रामक व्यवहार को दर्शाता है।
  • आकर्षक व्यक्ति में सौम्यता, चुस्ती और गरिमा होने चाहिए। आपके आकर्षक तौर तरीके पर दूसरों की प्रतिक्रिया भी सकारात्मक होगी।
  • बातचीत के दौरान ध्यान इधर – उधर न भटकाएं। उल्टी – सीधी या गैरजरूरी हरकतों से बचें।
  • हमेशा अपने गुस्से पर काबू रखें। इससे आपकी खूबियां दब जाती हैं और आप अप्रिय व्यक्ति बन जाते हैं।
  • आपका अपना एक स्तर (level) होना चाहिए। इसको प्रभावी ढंग से प्रस्तुत करने के लिए विनम्रता, ईमानदारी, अच्छे तौर – तरीके और साथियों के लिए मानवीयता का भाव रखना होगा।
  • असभ्य और असंस्कृत लोगों से हमेशा दूर रहें। आपकी Personality और अच्छी सोच आपको भीड़ से अलग करती है।

8. सकारात्मक मानसिक प्रवृति | positive mental attitude

सकारात्मक प्रवृति एक मानसिक स्थिति है। आशावाद, दूसरों की मदद करने का स्वभाव, जिंदगी में नई चीजें सीखने की ललक कुछ ऐसे गुण हैं। जो व्यक्ति में सकारात्मक मानसिक प्रवृति (positive mental attitude) के पोषक और वाहक हैं। इसके लिए नकारात्मक सोच और नकारात्मक लोगों को नजरंदाज करने की जरूरत है।

आपके संस्थान और पेशे के लिए आपकी सोच बहुत महत्त्वपूर्ण है। आपको इस विश्वास से काम करना चाहिए कि आपका संस्थान और इसके कर्मचारी सर्वश्रेष्ठ हैं। और यदि नहीं हैं तो उन्हें सर्वश्रेष्ठ बनाने के लिए आपको पूरे प्रयास करने चाहिए। इसका मतलब यह नहीं कि आप उनकी कमियों को नजरंदाज करते रहें। किसी ने सच ही कहा है :-

“आप किस बुलंदी को छुएंगे यह आपकी प्रवृति तय करती है।”

9. नाम याद रखें | remember name

किसी भी व्यक्ति के लिए उसका नाम सभी चीजों से बढ़कर होता है। आप जब भी किसी से मिलते हैं तो बातें करते हुए बीच – बीच में उसे नाम से पुकारें। सामने वाला अपना नाम सुनकर खुद पर गर्व महसूस करता और नतीजतन आपकी बातों को ज्यादा ध्यान लगाकर सुनता है।

यदि सामने वाला व्यक्ति आपसे बड़ा है तो उसके नाम के साथ suffix और prefix लगाना न भूलें। अगर आपको नाम भूलने की आदत है तो अपने व्यक्तित्व विकास (personality development) के लिए इसमें सुधार करें।

10 . खुद को अपडेट और सुधारते रहें | Keep updating and improving yourself

नए फीचर्स के लिए, Mobile apps की तरह खुद को भी time to time update करते रहें। personality development एक ऑन going process है। एक बार इम्प्रूवमेंट करके ये सोच कर नहीं बैठ जाना है कि जितना होना था हो गया। इसमें लगातार सुधार की जरूरत होती है। इसलिए नई चीजें सीखने के लिए उत्सुक रहें।

दोस्तो, हमारा ये पर्सनैलिटी डेवलपमेंट पोस्ट (कैसे करें व्यक्तित्व का विकास | How to develop personality?) आप लोगों को कैसा लगा। हमें कमेंट करके जरूर बताएं। आपके सुझाव हमारे लिए बहुत महत्त्वपूर्ण हैं। और यदि ये लेख आपको अच्छा लगे तो अपने दोस्तों को जरुर शेयर करें।

– 🙏 धन्यवाद 🙏

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